Tuesday, March 29, 2022

माला जप।

 माला जप। 


कल हम तीनों संवाद कर रहे थे; लक्ष्मी, धवल और मैं। धवल ने प्रश्न रखा। लोग माला फेरते है इससे क्या फ़ायदा? लक्ष्मी ने कहा एक्यूप्रेशर हो रहा है, अंगूठे और उँगली पर माला का दबाव पड़ने से ह्रदय चक्र प्रभावित होता है और स्वास्थ्य फ़ायदा होगा। मैंने बताया, चित्त की एकाग्रता बढ़ती है।  भिन्न भिन्न विषयों और विचारों से ध्यान एक मंत्र या जाप पर केन्द्रित होकर सूक्ष्म होता है, जिससे बुद्धि सतेज होती है और समझ बढ़ती है। धवल ने कहा, यह सब सही लेकिन उससे भी आगे संयम बढ़ता है, सहनशीलता बढ़ती है और अहिंसा बढ़ती है। ऐसे लोग प्रतिकार और प्रतिरोध नहीं करते पर बर्दाश्त कर लेते है, जिससे अहिंसा और शांति निर्मित होती है। वर्ना परिस्थिति का विरोध करने से या प्रतिक्रिया देने से हिंसा एवं अशांति बढ़ती है। आप मध्य में हो हर वक्त। या तो अहिंसा को चुनो या हिंसा। माला फेरना, नाम जप करना एक विधि है, जो सहायक होती है, अपने आपको अहिंसक बनाने में। 


मेरे तुरंत सामने आ गई सन २४ सितंबर २००२ में अक्षरधाम पर हुए आतंकी हमले की वह घटना जिसमें ३३ लोग मारे गये थे और ८० से अधिक घायल हुए थे। मंदिर का प्रबंधन करने वाले बीएपीएस स्वामीनारायण संस्था के प्रमुख प्रमुख स्वामी महाराज ने संयम का उत्तम उदाहरण दिया था। हरि इच्छा मानकर सह लिया ओर शांति बनाए रखने की अपील की जिससे कोई प्रतिहिंसा नहीं हुई।प्रमुख स्वामी महाराज ने पूरे जीवन माला फेरी थी और सब के मंगल की कामना की थी। वह अहिंसा का विजय था। 


माला फेरों पर उल्टी माला मत फेरना।😊


पूनमचंद 

२९ मार्च २०२२

0 comments:

Post a Comment

Powered by Blogger.